बिजनौर। नगर पालिका परिषद बिजनौर द्वारा संचालित गौशाला में संदिग्ध परिस्थितियों में कई गौवंश की मौत हो जाने का सनसनीखेज मामला सामने आया है। नुमाइश ग्राउण्ड में स्थित इस गौशाला के मामले को लेकर एक अधिवक्ता सहित दर्जनों जागरूक नागरिकों ने जिलाधिकारी अंकित कुमार अग्रवाल से लिखित शिकायत की है।
शिकायत में कहा गया है कि नुमाइश ग्राउंड स्थित नगर पालिका परिषद बिजनौर द्वारा संचालित गौशाला में दिनांक 12 जून 2024 को भूख प्यास के चलते 35 से 40 गौवंशों की एक साथ मृत्यु हो गई। यह भी आरोप लगाया कि गौवंशों के मृत शरीर को साफ-सुथरे स्थान पर न दबाकर पालिका परिषद के ग्राम गंगदासपुर स्थित कूड़ा ट्रीटमेन्ट प्लांट में कुछ को कूड़े के अंदर ही दबा दिया और कुछ को कूड़े के ढेर पर डाल दिया गया, जिनके शरीर का कुछ हिस्सा कुत्तों ने खा लिया। शिकायत में कहा गया कि इस प्रकरण से हिन्दू धर्म प्रेमियों की भावनाएं आहत हुई हैं।
पूरे मामले का आरोपी नगर पालिका परिषद बिजनौर के एक वरिष्ठ अधिकारी एवं एक कनिष्ठ अधिकारी को ठहराते हुए आरोप लगाया कि उक्त दोनों ही जहां-जहां नियुक्त रहे, वहां वहां इन पर भ्रष्टाचार व अवैध धन की वसूली के आरोप लगे हैं। ये बदनाम अधिकारी हैं और पालिका परिषद बिजनौर में भी भ्रष्टाचार में इतने लिप्त हैं कि यह भूल गए कि वह खुद भी हिन्दू है। हिन्दू धर्म की आस्था गौ माता में है। उक्त दोनों अधिकारी अपने अधिकारों का नाजायज फायदा उठाकर सरकारी धन का बंदरबांट करते हैं। लालच इतना बढ़ गया है कि गौ माता के चारे के नाम पर भी सरकारी धन का गबन करने लगे। जिलाधिकारी से उक्त दोनों आरोपियों की सरकारी सेवा तुरन्त समाप्त करने एवं इनकी सम्पत्ति कुर्क करके पूर्व में गबन कर कमाए गए धन की रिकवरी करने की मांग की गई।
शिकायत करने वालों में कुलदीप कुमार (एड०) पुत्र जय प्रकाश निवासी मोहल्ला जाटान बिजनौर, राधेश्याम, अमरदीप, विकास, सुनील कुमार, रवि सूद, रवि कुमार, रोहताश, विश्वास, देव मेहरा, भूपेंद्र, सुरेंद्र, टिंकू सिंह, दिनेश, निखिल, विशाल शामिल रहे।
वहीं कुछ सूत्रों का कहना है कि मृत गौवंशों की संख्या कई गुना बढ़ाकर बताई जा रही है। शवों को पशु चिकित्सा विभाग द्वारा पोस्टमार्टम के बाद दफनाया गया! संबंधित विभागों के अधिकारियों के सम्पूर्ण समाधान दिवस में व्यस्त होने के कारण उनके पक्ष नहीं प्राप्त हो सके।